Navratri Puja 2023 in Hindi – दुर्गा पूजा करना सही या गलत ?

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नवरात्रि ( Navratri Puja 2023 ) एक ऐसा त्योहार जिसमें लोग नौ दिन माँ दुर्गा की पूजा आराधना करते है यह साल में दो बार मनाया जाता है । हिन्दू धर्मगुरु ऐसा कहते है कि माँ दुर्गा कि नौ दिनों तक पूजा आराधना, व्रत उपवास करने से माता देवी दुर्गा अपने भक्तों से प्रसन्न होती है और भक्त को सुखमय जीवन प्रदान करती है जबकि देखा जाए तो लोग बहुत से अथाह दुख में जीवन व्यतीत कर रहे होते हैं। ऐसे में उनकी माँ दुर्गा देवी पर दृढ़ निष्ठा भी कम होने लगी और वे आस्तिक से नास्तिक होने की कगार पर हैं।

आपको क्या लगता है कि देवी दुर्गा की पूजा करने से सुख प्राप्त होता है ? क्या माँ दुर्गा की पूजा करना सही है ? आईये आज के इस ब्लॉग में जानते है कि ( Navratri Puja 2023 in Hindi ) दुर्गा पूजा करना सही या गलत ? अर्थात माँ दुर्गा की पूजा करना चाहिए अथवा नहीं ?

Navratri Puja 2023 in Hindi

माँ दुर्गा कि पूजा करने से सुख प्राप्ति नहीं होती

Navratri Puja 2023 in Hindi: जो लोग सुखी जीवन जी रहे हैं वे माँ दुर्गा को अपना सब कुछ मानकर उनकी पूजा और भी दृढ़ता से करते हैं। असमंजस की बात ये है कि माँ दुर्गा के सुखी भक्त भी हैं और दुखी भक्त भी। ऐसे ही हर धर्म, पंथ, मजहब में है। जहाँ बहुत से लोग सुखी भी हैं और बहुत से दुखी भी हैं। जो सुखी हैं वो जिस पंथ से जुड़े हैं उन्हें ही श्रेष्ठ मान लेते हैं और जो दुखी हैं वो जगह जगह अपने दुःख निवारण के लिए जाते हैं और जब कहीं कुछ नहीं होता अर्थात उनके दुःख दूर नहीं होते तो थक हारकर नास्तिक हो जाते हैं। भगवान पर विश्वास नहीं रहता और भगवान का नाम लेने से भी कतराने लगते हैं। 

  • ऐसे में स्वयं परमात्मा पृथ्वी पर आते हैं या अपनी खास आत्मा को सन्त रूप में इस पृथ्वी पर भेजते हैं और सत्यज्ञान का प्रचार करवाकर व अपने अनुयायियो को बेहिसाब लाभ देकर जनता का प्रभु में विश्वास बनाते हैं

नवरात्रि पर नौ दिन तक माता देवी दुर्गा की पूजा करना, उनके लिए व्रत-उपवास रखना इस पर्व की मुख्य क्रियाएं हैं। हिन्दू धर्म के सभी इन क्रियाओं को अवश्य करते हैं लेकिन क्या ये सब क्रियाये आध्यात्म के आधार पर हैं ? हमारे धार्मिक सदग्रन्थ; पवित्र वेदों व पवित्र गीता जी में क्या इसका कोई प्रमाण है ? आईये जानते है

सन्त रामपाल जी महाराज जी ने श्रीमद देवी भागवत महापुराण से स्पष्ट करके दिखाया है कि देवी दुर्गा जी अपनी पूजा करने को मना करते हुए ब्रह्म की पूजा करने को कह रहीं हैं। देखिये वीडियों

देवी दुर्गा जी की स्तिथि पूरी तरिके से स्पष्ट हो गयी कि देवी दुर्गा स्वयं अपनी पूजा करने के लिए साधको को मना करती है व ब्रह्म, जिसे काल, ज्योति निरंजन कहते हैं, को पूज्य इष्ट देव बताते हुए उनकी पूजा करने को कह रही हैं। ये वही काल ब्रह्म है जिसने श्रीकृष्ण जी के शरीर मे प्रवेश कर गीता जी का ज्ञान दिया :-

गीता अध्याय 11 के श्लोक न० 32 मे गीता ज्ञान दाता कह रहा है कि है अर्जुन मैं बड़ा हुआ काल हूं और अब प्रविष्ट हुआ है , इसे काल स्वरूपी ब्रह्म भी कहा जाता है। देवी दुर्गा जी, देवी पुराण में ब्रह्म को पूज्य बता रहीं है और जबकि ब्रह्म गीता जी अध्याय न० 7  के श्लोक 18 मे अपनी पूजा को भी अनुत्तम बता रहा है तथा गीता जी अध्याय न० 18 के श्लोक 62 और 66  मे गीता ज्ञान दाता ब्रह्म अर्जुन को अपने से अन्य किसी और परमात्मा की शरण में जाने को कह रहा है जिसकी शरण मे जाने से साधक शाश्वत स्थान और परम् शांति को प्राप्त होगा। 

देवी पुराण और गीता जी से स्पष्ट हुआ कि माता देवी दुर्गा की पूजा करना व्यर्थ है

Navratri Puja 2023 in Hindi: दोस्तों जब हमने वेदो को जांचा लेकिन वेदो मे भीें हमें ऐसा कोई प्रमाण नही मिला जहां देवी दुर्गा जी की पूजा का समर्थन मिलता हो। बल्कि ऐसे बहुत से प्रमाण मिले जिसमें एक पुरुष, पूर्ण परमात्मा की भक्ति करने को बोला गया है। वेदों में पूर्ण परमात्मा की महिमा लिखी हुई है जिससे स्पष्ट होता है कि पूर्ण परमात्मा की भक्ति करने से ही लाभ मिलेगा। वेदों में कहीं भी माता देवी दुर्गा की पूजा का समर्थन नहीं मिला। जिससे ये सिद्ध होता है कि देवी दुर्गा माता की पूजा करना शास्त्रविरुद्ध होने से व्यर्थ है।

इसके अलावा जो लोग नवरात्री ( Navratri Puja 2023 ) या इसके अलावा कोई भी व्रत रखते हैं उनके लिए श्रीमद्भागवत गीता जी के अध्याय 6 श्लोक 16 में ये प्रमाण भी मिलता है कि व्रत करने वाले की योग-साधना कभी सफल नहीं हो सकती, उनकी गति सम्भव नहीं। इसलिए देवी दुर्गा की पूजा न करके शास्त्रों के अनुसार भक्ति साधना करना उत्तम है जिससे देवी माँ प्रसन्न होती हैं। वर्तमान में वो वास्तविक मन्त्र केवल सन्त रामपाल जी महाराज ही प्रदान कर रहे हैं। जो सिर्फ दुर्गा माता को ही नही बल्कि सभी देवी देवताओं को प्रसन्न कर देगा।

दुर्गा पूजा के विषय में संत गरीब दास जी की वाणी

संत गरीब दास जी महाराज अपनी वाणी में कहते हैं-

” दुर्गा ध्यान पड़े तिस बगड़म,

तां सगाति डूबें सब नगरम”

कहते हैं ,जहाँ दुर्गा देवी का जागरण होता हैं उसकी संगत मे पूरा नगर डूब जाता हैं। देखा देखी धीरे -धीरे अपने घरों पर जागरण आदि कराते हैं और सभी दुर्गा जी की शास्त्रविरुद्ध पूजा में आरूढ़ हो जाते है जिससे उनका मोक्ष नहीं हो पाता। प्रिय दर्शकों आज के अंक में हमने पाया कि देवी दुर्गा की पूजा, नवरात्रे आदि करने के लिये न तो हमारे धार्मिक सद्ग्रन्थों से कोई समर्थन मिलता है व न ही परमात्मा प्राप्त सन्तो की वाणियो से। और देवी पुराण में भी देवी दुर्गा अपनी पूजा करने को मना कर रहीं हैं। तो फिर नवरात्रि ( Navratri Puja 2023 ) आदि करना अपना मानव जीवन बर्बाद करना ही है।

अतः आप सभी से हमारी करबद्ध प्रार्थना है कि वास्तविक पूजा की जानकारी प्राप्त करने व शास्त्र अनुसार भक्ति की जानकारी पाने के लिए पूर्ण गुरु जगतगुरु तत्वदर्शी सन्त रामपाल जी महाराज के सत्संग अवश्य सुनें व उनपर अमल करके अपना जीवन धन्य करे।

आशा करते है आपको इस ब्लॉग (Navratri Puja 2023 in Hindi – दुर्गा पूजा करना सही या गलत ?) से कुछ जानकारी प्राप्त हुई होगी

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