कबीर प्रकट दिवस 2022

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नमस्कार दोस्तों जैसा कि आप सभी को पता हैं कि आज कबीर प्रकट दिवस (कबीर साहेब जयंती 2022 ) है तो आईये आज इस ब्लॉग में हम कबीर साहेब जी के बारे में कुछ जानेंगे ।

कबीर प्रकट दिवस कब है

हर साल की तरह इस साल भी बड़े ही जोर शोर से कबीर प्रकट दिवस मनाया जा रहा है । इस साल 625वां कबीर प्रकट दिवस 14 जून 2022 को मनाया जायेगा

कबीर प्रकट दिवस 2022
कबीर प्रकट दिवस 2022

कबीर परमेश्वर का कमल के फूल पर अवतरण

दोस्तों इस दिन ज्येष्ठ मास की शुक्ल पूर्णमासी विक्रमी संवत् 1455 (सन् 1398) दिन सोमवार को ब्रह्म मुहूत में परमेश्वर कबीर साहेब जी अपने निजधाम सतलोक से चलकर इस मृतमण्डल में काशी में लहरतारा तालाब के अन्दर कमल के फूल पर एक बालक के रूप में प्रकट हुए जहाँ से नीरू नीमा उनको घर ले गये।

कबीर, ना मेरा जन्म न गर्भ बसेरा, बालक बन दिखलाया। काशी नगर जल कमल पर डेरा, तहाँ जुलाहे ने पाया।।

साहेब होकर उतरे, बेटा काहू का नाहीं। जो बेटा होकर उतरे, वो साहेब भी नाहीं।।

गरीबदास जी की वाणी है –

ना सतगुरु जननी जने, उनके मां न बाप। पिंड ब्रह्मण्ड से अगम है, जहां न तीनों ताप ।।

कबीर परमेश्वर का कमल के फूल पर अवतरण (कबीर प्रकट दिवस 2022)

पूर्ण परमात्मा कभी भी न जन्म लेता है और न मरता है

पूर्ण परमेश्वर कबीर साहेब सशरीर आये और अनेकों लीलाएं करके पुनः सशरीर सतलोक चले गए क्योंकि पूर्ण परमात्मा कभी भी न जन्म लेता है और न उसकी मृत्यु होती है।

इसके अतिरिक्त पूर्ण परमात्मा अन्य रूप धारण करके कभी भी प्रकट होकर अपनी लीला करके अंतर्ध्यान हो जाते हैं।

कबीर सागर, अध्याय “अगम निगम बोध” पृष्ठ 41 में लिखा है-

अवधु अविगत से चल आया, कोई मेरा भेद मर्म नहीं पाया। ना मेरा जन्म न गर्भ बसेरा, बालक बन दिखलाया। काशी नगर जल कमल पर डेरा, तहाँ जुलाहे ने पाया।।

कबीर सागर, अध्याय “अगम निगम बोध” पृष्ठ 41

शिशु कबीर परमेश्वर द्वारा कुंवारी गाय का दूध पीने का वर्णन

परमेश्वर जब पृथ्वी पर शिशु रूप में प्रकट होते हैं तो उनकी परवरिश कुंवारी गाय के दूध द्वारा होती है।

गरीब शिव उतरे शिवपुरी से, अविगत बदन विनोद। महके कमल खुशी भये, लिया ईश कूं गोद। सात बार चर्चा करी, बोले बालक बैन। शिव कूं कर मस्तक धरया, ला मोमन एक धैन।  गरीब अन ब्यावर कूं दूहत है, दूध दिया तत्काल। पीवै बालक ब्रह्मगति, तहाँ शिव भये दयाल।।

कबीर प्रकट दिवस 2022
कबीर प्रकट दिवस 2022 ( परमेश्वर द्वारा कुंवारी गाय का दूध पीना )

सन् 1398 में शिशु रूप में अवतरित कबीर परमेश्वर जी ने 25 दिन तक कुछ नहीं खाया-पिया। लेकिन ऐसा स्वस्थ शरीर था जैसे प्रतिदिन 9 किलो दूध पीते हों। 25 दिन की उम्र में कबीर साहेब जी लीला करते हुए कहते हैं कि मैं कुंवारी गाय का दूध पीता हूं। नीरू एक बछिया लाया तब शिशु रूपी कबीर परमात्मा कुंवारी गाय का दूध पिया।

गरीब, दूध न पीवै न अन्न भखै, नहीं पालने झूलन्त।
अधर अमान धियान में, कमल कला फुलन्त।।
अन ब्यावर को दूहत है, दूध दिया तत्काल।
पीवै बालक ब्रह्म गति, तहां शिव भये दयाल।।

परमेश्वर कबीर जी का बालक रूप

परमेश्वर कबीर जी जब काशी के लहरतारा तालाब पर बालक रूप में सशरीर अवतरित हुए और जुलाहा दंपति नीरू-नीमा ने बालक रूपी कबीर जी को गोद में लिया। तब उनके शरीर की शोभा अद्भुत थी।

गरीब, काशी उमटी गुल भया, मोमन का घर घेर।
कोई कहै ब्रह्मा विष्णु है, कोई कहै इन्द्र कुबेर।।

जब कबीर परमेश्वर को नीरू नीमा घर लेकर आये तो पूरी काशी परमेश्वर कबीर जी के बालक रूप को देखने को उमड़ पड़ी। बच्चे को देखकर कोई कह रहा है था कि ये बालक ब्रह्मा का अवतार है। कोई कह रहा था साक्षात विष्णु भगवान आये हैं, कोई इन्द्र कुबेर कह रहा है। उन्हें देखकर कोई कह रहा था कि यह बालक तो कोई देवता का अवतार है। कोई कह रहा था यह तो साक्षात विष्णु जी ही आए लगते हैं। कोई कह रहा था यह भगवान शिव ही अपनी काशी को कृतार्थ करने को उत्पन्न हुए हैं।

गरीब, गोद लिया मुख चूम करि, हेम रूप झलकंत। 

जगर मगर काया करै, दमकै पदम अनंत।।

गरीब, दुनी कहै योह देव है, देव कहत हैं ईश।

ईश कहै परब्रह्म है, पूरण बीसवे बीस।।

संत गरीबदास जी कहते हैं कि शिशु रूप में कबीर परमेश्वर जी को देखकर काशी के लोग कह रहे थे कि यह तो कोई देवता का अवतार है। देवता कह रहे थे कि यह स्वयं ईश्वर है और ईश्वर कहते हैं कि स्वयं पूर्ण ब्रह्म पृथ्वी पर आए हैं। 

कबीर साहेब जी कौन हैं - Kabir Saheb
कबीर प्रकट दिवस 2022 ( कबीर साहेब अवतरण दिवस )

कबीर प्रकट दिवस 2022 कहाँ मनाया जा रहा है

हर साल की तरह इस साल भी 625वां कबीर प्रकट दिवस 2022 संत रामपाल जी महाराज के पावन सानिध्य में रोहतक, भिवानी, शामली ( उत्तरप्रदेश ), कुरुक्षेत्र, धुरी ( पंजाब ), मुंडका ( दिल्ली ) में विशाल रूप से मनाया जा रहा है ।

625 वें

परमेश्वर कबीर साहेब जी प्रकट दिवस के उपलक्ष्य में संत गरीबदास जी महाराज जी की

अमर वाणी का अखंड पाठ

दिनांक 12, 13 व 14 जून 2022

  1. Satlok Ashram Rohtak (Haryana)
  2. Satlok Ashram Dhuri (Punjab)
  3. Satlok Ashram Shamii (U. P.)
  4. Satlok Ashram Indore (MP)
  5. Satlok Ashram Bhiwani (Haryana)
  6. Satlok Ashram Mundka (Delhi)
  7. Satlok Ashram Sojat (Rajasthan)
  8. Satlok Ashram Kurukshetra (H.R.
  9. Satlok Ashram khamano (Punjab)

अधिक जानकारी के लिए visit करें www.jagatgururampalji.org

11 COMMENTS

  1. कबीर साहेब जी पूर्ण परमात्मा है वे सशरीर सतलोक से आये और सशरीर सतलोक गए ।

  2. God Kabir is the only savior
    Supreme God Kabir is the Father of whole Universe.
    He is the Giver of Eternal peace and happiness.
    Spiritual books of all religion praises the glory of Supreme God Kabir.
    He can do anything for His devotee.

  3. पूरे संसार के अंदर तत्वदर्शी संत रामपाल जी महाराज जी और वही सत्य ज्ञान बताते हैं

  4. 𝐀𝐧𝐚𝐧𝐭 𝐤𝐨𝐭𝐢 𝐛𝐫𝐚𝐡𝐦𝐚𝐧𝐝 𝐤𝐚, 𝐞𝐤 𝐫𝐚𝐭𝐢 𝐧𝐚𝐡𝐢 𝐛𝐡𝐚𝐚𝐫.
    𝐒𝐚𝐭𝐠𝐮𝐫𝐮 𝐩𝐮𝐫𝐮𝐬𝐡 𝐊𝐚𝐛𝐢𝐫 𝐡𝐚𝐢, 𝐤𝐮𝐥 𝐤𝐞 𝐬𝐫𝐢𝐣𝐚𝐧 𝐡𝐚𝐚𝐫..

    𝐎𝐧𝐥𝐲 𝐊𝐚𝐛𝐢𝐫 𝐬𝐚𝐡𝐞𝐛 𝐢𝐬 𝐠𝐢𝐯𝐞 𝐮𝐬 𝐜𝐨𝐦𝐩𝐥𝐞𝐭𝐞 𝐬𝐚𝐥𝐯𝐚𝐭𝐢𝐨𝐧.

  5. संत रामपाल जी महाराज का ज्ञान अद्वितीय है देखते ही देखते इनका ज्ञान वर्तमान में विस्फोट हुआ और पूरी दुनिया में ऐसा ज्ञान का कोई तोड़ नहीं उसका किसी के पास जवाब नहीं है ऐसा है संत रामपाल जी महाराज का ज्ञान

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