Satrangi TV के ( भगवान पर विश्वास – Hindi Stories ) भगवान पर विश्वास में आपका स्वागत है
मित्रों गुरुनानक देव जी को कौन नहीं जानता हैं ? श्री गुरुनानक देव जी सिख धर्म के पहले प्रवर्तक थे । इन्होने ही सिख धर्म की स्थापना किया । गुरुनानक देव जी सिख समुदाय के पहले गुरु थे । लेकिन आज के इस ब्लॉग में हम आपको गुरुनानक देव जी के जीवन से जुडी एक ऐसी कहानी ( भगवान पर विश्वास ) बताने जा रहे हैं जिसे सुनकर भगवान के प्रति आपका विश्वास और दृढ़ हो जाएगा ।
गुरुनानक देव जी का जीवनी – Hindi Story ।
गुरु नानक देव जी का जन्म विक्रमी संवत 1526 ( सन 1469 ) को कार्तिक शुक्ल पूर्णिमा को हिंदू परिवार में श्री कालूराम मेहता के घर माता श्रीमती तृप्ता देवी से पश्चिमी पाकिस्तान के जिला लाहौर के तलवंडी नामक गांव में हुआ था । यह हिस्सा अविभाजित भारत का हिस्सा था । इसे ननकाना साहिब के नाम से भी जाना जाता है । वर्तमान में यह स्थान पाकिस्तान में है । श्री गुरु नानक देव जी को फारसी, पंजाबी, संस्कृत भाषा का ज्ञान था । प्रत्येक वर्ष गुरु नानक जी का जन्म दिवस गुरु पर्व के रूप में मनाया जाता है । गुरु नानक देव जी परमेश्वर की प्यारी आत्मा थी ।
भगवान पर विश्वास – Hindi Story
एक बार की बात है जब गुरु नानक देव जी किशोरावस्था के थे । उन्हें उनके पिता ने फसलों की देखरेख के लिए खेत में भेजा । वह खेत में जाकर फसलों की देख – रेख करने के बजाय प्रकृति के सौंदर्य और गुरु ध्यान में लीन हो गए , आने जाने वाले व्यक्ति हैरत ( आश्चर्य ) और हंसी से उन्हें निहारते निकल जाते ।
हैरत ( आश्चर्य ) इसलिए कि चिड़िया खेत चुग रही थी और गुरु नानक देव जी आनंदित हो रहे थे, हंसी इसलिए कि बालक नानक की मूर्खता समझ रोमांचित ( प्रसन्न )हो रहे थे कि कैसा बुद्धू ( मुर्ख )है कि पिता ने खेत रखवाली करने के लिए भेजा है और यह चिड़ियों को भगा नहीं रहा है बल्कि प्रसन्न हो रहा है । कुछ लोग उनके घर जाकर उनके पिता से शिकायत किए । पिता दौड़े-दौड़े खेत पहुंचे तो देखा कि सैकड़ों की संख्या में चिड़ियाँ खेत ( फसल )चुग रही थी । पिता ने चिड़ियों को खेत से भगाया यह देख बालक नानक ने उन्हें रोकते हुए कहा –
पिताजी इन्हें मत भगायिये, चिड़ियों को दाना चुगने दीजिए ।
पिता ने कहा
कैसी मूर्खता भरी बातें करते हो, चिड़िया जब दाना चुग जाएगी तो हमारे लिए बचेगा क्या ?
बालक नानक ने आसमान की ओर उंगली उठाते हुए कहा-
इसे उस ऊपरवाले रब पर छोड़ दीजिए उसको सब की चिंता है हमारी भी और इन चिड़ियों की भी । बालक नानक के मुख से निकला- राम जी चिड़िया, राम का खेत । चुग लो चिड़िया, भर- भर पेट ।।
जब फसल की कटाई हुई तो सब हैरत ( आश्चर्य ) में थे क्योंकि पूरे गांव में सबसे अधिक दाना गुरु नानक देव जी के खेत से ही निकला था। इसलिए तो कहते हैं ईश्वर पर विश्वास करना ( भगवान पर विश्वास )चाहिए क्योंकि वह सब कुछ देखता है और सुनता भी है ।
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